
दुर्ग ग्रामीण के अंतर्गत औद्योगिक इकाई वाले क्षेत्र के ग्राम रसमड़ा में एक गुमनाम कंपनी से विषैली गैस का स्राव होता था जो भारी असहनीय होता था।
जिससे ग्रामीण त्रस्त थे उसके बाद मोहल्ले वासियों ने इसकी शिकायत दुर्ग कलेक्टर से की जिसमें ग्रामीणों ने कलेक्टर महोदय भारत सरकार लिख दिया।
पास में आदिवासी छात्रावास, पेट्रोल पंप से लेकर प्राथमिक स्कूल भी संचालित है गुमनाम कंपनी से लगातार अजीब से बदबू आती थी और उस दुर्गंध से सांस लेने में बड़ी तकलीफ होती थी, पेट में गैस बनने जैसी समस्या और सर दर्द होता था।
धार न्यूज़ की प्रारंभिक पड़ताल में शासन द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की गई है लेकिन ग्रामीणों की समस्या से निजात जरूर मिल गई है।कंपनी में क्या काम होता है उसका बाहर कोई उल्लेख नहीं है कंपनी में काम कर रहे एक व्यक्ति ने बताया कि वहां साबुन बनाने के लिए जो कैमिकल इस्तेमाल होता है वही बनता है। तब इसकी पुष्टि के लिए कंपनी के अथॉरिटी से बात की गई तो उन्होंने बताया कि जिला व्यापार उद्योग केंद्र से सारे परमिशन लिए गए हैं लेकिन कंपनी के गेट में किसी नाम का उल्लेख नहीं है। इसके बाद से विषैला गैस का स्त्राव आना बंद हो गया है लोग चैन की सांस ले रहे हैं।
रसमड़ा इंडस्ट्रियल बेल्ट वाला क्षेत्र है औद्योगिक इकाइयों के धुएं से आए दिन लोग परेशान रहते हैं लेकिन यह बदबू कुछ नया वाला समस्या लेकर भारत सरकार के कलेक्टर के पास खड़ा हो गया था।

